टैकनोलजी

बढ़ रहे स्कैम के खिलाफ सरकार ने लिया एक्शन, अब बिल बनवाते समय नहीं देना होगा मोबाइल नंबर

Mobile Numbers for Generating Bill : आपने नोटिस किया होगा कि जब आप किसी दुकान से सामान लेने के लिए जाते हैं तो दुकानदार बिल बनाने के लिए आपका नंबर मांगता है. ऐसा दुकानदार, कस्टमर्स का डेटा स्टोर करने के लिए करते हैं. क्या कभी आपको इस तरह अपना नंबर दुकानदार के साथ शेयर करने में दिक्कत हुई है? खैर, सरकार ने अब इसके खिलाफ बात की है, और दुकानदार अब आपको अपना मोबाइल नंबर देने के लिए फोर्स नहीं कर सकते हैं. सरकार ने यह कदम कस्टमर्स सुरक्षा और ऑनलाइन स्कैम को रोकने के लिए उठाया है. 

अब बिल के लिए अपना नंबर देने की नहीं जरूरत

हाल ही में, WhatsApp और कॉल स्कैम के मामलों को लेकर सरकार हरकत में आ चुकी है. यूजर सुरक्षा के लिए सरकार कई कदम उठा रही है. देखा गया है कि अक्सर साइबर चोर मोबाइल फोन और वॉट्सएप मैसेज के माध्यम से इन स्कैम को अंजाम देते हैं. अब सरकार नहीं चाहती है कि आपका पर्सनल डेटा कैसे भी साइबर चोरों के हाथ लगे. इस को ध्यान में रखते हुए, सरकार ने एडवाइजरी जारी कर शॉपकीपर्स से कस्टमर्स को अपने कॉन्रेक्ट डिटेल देने के लिए बाध्य नहीं करने के लिए कहा है.

कस्टमर्स ने की थी शिकायत

यह सलाह इसलिए जारी की गई क्योंकि पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, कई कस्टमर्स ने शिकायत की है कि  शॉपकीपर्स तब तक सर्विस प्रदान करने से इनकार करते हैं जब तक कि कस्टमर्स अपना कॉन्टैक्ट नंबर साझा नहीं करते. सेलर अक्सर कहते हैं कि वे कस्टमर्स को तब तक बिल नहीं दे सकते हैं जब तक कि वे अपनी कॉन्टेक्ट डिटेल महैय्या नहीं कराते. हालांकि, यह अनुचित माना जाता है और उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम (Consumer Protection Act) के खिलाफ जाता है. सेलर इस तरह से कस्टमर्स की इन्फॉर्मेशन स्टोर नहीं कर सकते हैं,  और यह कस्टमर्स को गलत तरीके से प्रतिबंधित करता है. 

कस्टमर्स को मिलते हैं अनचाहे मैसेज

भारत में बिल प्राप्त करने के लिए कस्टमर्स को रिटेलर को अपना मोबाइल नंबर देना अनिवार्य नहीं है. हालांकि, रिटेलर अक्सर बिलिंग के लिए नंबर शेयर करने पर दबाव बनाते हैं. जब दुकानदारों के पास आपके फोन नंबर तक पहुंच होती है, तो वे इसका इस्तेमाल आपको अनचाहे मार्केटिंग मैसेज भेजने या अनचाही सेल कॉल करने के लिए कर सकते हैं. 

News Reels

यह भी पढ़ें – BSNL यूजर्स के लिए खुशखबरी! सामने आई 4G और 5G की लॉन्चिंग डिटेल, खुद सरकार ने सब बताया

Aslam Khan

हर बड़े सफर की शुरुआत छोटे कदम से होती है। 14 फरवरी 2004 को शुरू हुआ श्रेष्ठ भारतीय टाइम्स का सफर लगातार जारी है। हम सफलता से ज्यादा सार्थकता में विश्वास करते हैं। दिनकर ने लिखा था-'जो तटस्थ हैं समय लिखेगा उनका भी अपराध।' कबीर ने सिखाया - 'न काहू से दोस्ती, न काहू से बैर'। इन्हें ही मूलमंत्र मानते हुए हम अपने समय में हस्तक्षेप करते हैं। सच कहने के खतरे हम उठाते हैं। उत्तरप्रदेश से लेकर दिल्ली तक में निजाम बदले मगर हमारी नीयत और सोच नहीं। हम देश, प्रदेश और दुनिया के अंतिम जन जो वंचित, उपेक्षित और शोषित है, उसकी आवाज बनने में ही अपनी सार्थकता समझते हैं। दरअसल हम सत्ता नहीं सच के साथ हैं वह सच किसी के खिलाफ ही क्यों न हो ? ✍असलम खान मुख्य संपादक

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button